साभार गुगल इमेज़
वफ़ा पे ज़फ़ा का इल्ज़ाम आया
वो खुश रहे सदा ये पैगाम आया
ये तकदीर उनकी खुदा ले आया
ज़न्नत में कैसी शमा लेकर आया
हसी तेरी मंज़िल हसी मेरी महफिल
ज़माने को ये नहीं अब ये रास आया
ख्वाबों के नशे मन हमें ही साथ लाये
मेरे दिल में उजालों कि बारात ले आये
कॉपीराइट @ आराधना राय
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